नई दिल्ली :- शिक्षा निदेशालय ने सरकारी जमीन पर स्थित निजी स्कूलों को बिना अनुमति के फीस बढ़ाने से रोक दिया है। दिल्ली में ऐसे 400 से ज्यादा स्कूल हैं। शिक्षा निदेशालय ने 2022-23 सत्र की फीस बढ़ाने के लिये पहले अनुमति लेने का निर्देश दिया है। शिक्षा निदेशक हिमांशु गुप्ता के द्वारा जारी एक पत्र में कहा गया कि सरकारी जमीन पर चल रहे गैर सहायता प्राप्त निजी स्कूल को किसी भी प्रकार की फीस में बढोतरी के लिये निदेशक को शुल्क वृद्धि का प्रस्ताव देना होगा। जो स्कूल प्रस्ताव नहीं भेजेंगे, उन्हें फीस बढ़ाने की अनुमति नहीं दी जायेगी। बता दें कि कोरोना महामारी के समय स्कूलों को सिर्फ ट्यूशन फीस लेने की अनुमति थी, स्कूलों पर सलाना शुल्क और विकास शुल्क लेने की रोक लगा दी गई थी। 2021 में दिल्ली हाईकोर्ट की याचिका के बाद स्कूलों को 15 प्रतिशत छूट के साथ सलाना और विकास शुल्क लेने की अनुमति दी गई थी। सरकारी जमीन पर बने इन निजी स्कूलों को फीस में बढ़ोतरी के लिये 12 से 27 जून के बीच ऑनलाइन आवेदन करना होगा। शिक्षा निदेशक के अनुसार स्कूलों के द्वारा दिये गये प्रस्ताव की अधिकारी या शिक्षा निदेशक की टीम के द्वारा जांच की जाएगी। निदेशक ने सख्त निर्देश दिया कि 2022-23 सत्र की फीस बढ़ाने के संबंध में प्रस्ताव की स्वीकृति के बिना फीस बढ़ोतरी की शिकायत में पाये जाने वाले स्कूलों पर हाईकोर्ट के निर्देश के अनुसार कर्रवायी की जायेगी, साथ ही डीडीए के द्वारा लीज पर दी गयी जमीन को भी रद्द कर दी जायेगी।