श्री राम जन्मोत्सव की भव्य झांकी देख झूम उठे श्रोता गण

नोएडा :- नोएडा सेक्टर 82 पाकेट 7 सेन्ट्रल पार्क मे चल रही श्री राम कथा के तीसरे दिन कथाव्यास महामंडलेश्वर श्री श्री 1008 स्वामी पंचमानंद जी महाराज ने कहा कि राम जी की कथा का वर्णन करते हुए शिव जी पार्वती जी से कहते हैं कि हे देवी ! राम के विषय में तर्क नहीं किया जा सकता ,वह मन बुद्धि व वाणी से आगम और अगोचर अगोचर हैं फिर भी संतों, मुनियों ने अपनी विमल बुद्धि से राम के पावन चरित्र का वर्णन किया है। कथाव्यास श्रीस्वामी जी ने बताया कि इस धरा धाम पर प्रभु का मानव अवतार तब होता है जब इस धरती पर पाप बढ़ जाता है ब्राह्मण ,संत, गाय , धरती तथा देवता को लोग अश्रद्धा भाव से देखते हैं |लोग धन के लालच में अनीति का मार्ग अपना लेते हैं, स्वार्थी हो जाते हैं| आपस का प्रेम खत्म हो जाता है परिवार के संबंध स्वार्थ में छिप छिप जाते हैं| माँ बेटी को लोग बुरी नजरों से देखने लगते हैं माता-पिता को बात बात में अपमानित करना अपना धर्म समझने लगते हैं |देवी देवता की पूजा व दान धर्म की बातों के अनर्गल समझते हैं | लोग गुरु का तिरस्कार करने लगते हैं, केवल धन ही जीवन का मुख्य अंग बन जाता है ,चारों तरफ के अत्याचार से लोग त्रस्त हो जाते हैं तब प्रभु श्री राम धरा धाम पर अवतरित होते हैं | तुलसीदास मानस मे दर्शन कराते है।


असुर मारि थापहिं सुरन,
राखहि निज श्रुति सेतु।

भगवान प्रकट होकर आसुरी शक्तियों से उन लोगों का संघार कर सुख वशांति की स्थापना करते हैं धर्म को पुनः स्थापित कर सनातन धर्म की रक्षा करते हैं आज रामनवमी के पावन तिथि है भगवान का प्राकट्य भी आज ही के दिन अयोध्या नरेश चक्रवर्ती सम्राट दशरथ के यहां हुआ था |आज राम कथा के प्रसंग में वही अवसर व पावन तिथि पड़ गई है |सुंदर सुंदर झांकियों से सजा यह कथा पंडाल भक्तों की अभेद्य भक्ति का ही प्रतीक है ।आज हिंदू समाज ,धर्म व देश तीनों ही घोर संकट में हैं। राजनेता राज धर्म छोड़ चुके हैं वेअज्ञानी व धर्म विरोधी होते जा रहे है।वह हिंदुस्तान में ही हिंदू धर्म के पतन पर आनंदित होते हैं हिंदुओं के पलायन पर खुश होते हैं संस्कार हीन समाज की रचना हेतु काले कानून बनाते हैं अब हमें रामावतार की शुभ घड़ी में राष्ट्र व धर्म तथा समाज की रक्षा का संकल्प लेना होगा भारतीय सभ्यता एवं संस्कृति के प्रतीक टीका चोटी व संध्या बंधन आदि की ओर बढ़ कर अध्यात्म से जुड़े और जोड़ें।

इस अवसर पर मौजूद रहे
इस मौके पर आचार्य विश्व नाथ त्रिपाठी,गौरव जी, प्रमोद भारद्वाज, एन के सोलंकी, रवि राघव,संजय पाण्डेय,गोरे लाल,अंगद सिंह तोमर, राघवेन्द्र दूबे,मुकेश रावत,धर्मेन्द्र सिंह,सिया राम,राजेश गुप्ता,सर्वेश तिवारी,राजबीर,गुरमेल सिंह,बलराम,प्रमोद श्रीवास्तव,प्रदीप तोमर,आलोक कुमार,अमितेश सिंह,हरि शंकर सिंह,राजेश पाठक, गिरिराज,रमेश चंद्र,अरविंद परिहार,विनय त्रिवेदी,सी एल तिवारी,शिव चौधरी,विष्णु शर्मा,पंकज झा,के के शर्मा,सतपती संगम प्रसाद मिश्र,हंस मणि शुक्ल ,रतन भारद्वाज आदि गणमान्य लोग मौजूद रहे ।

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